हिमाचल प्रदेश के जिला कुल्लू व मंडी में मंगलवार को फिर भूकंप के झटके महसूस किए गए। दोपहर करीब 12:02 बजे आए भूकंप से जिलावासी सहम गए। दो दिन पहले भी कुल्लू में भूकंप महसूस किया गया था। हालांकि, अभी तक किसी तरह के नुकसान की सूचना नहीं है। भूकंप के झटके महसूस होते ही कई लोग दहशत में घरों से बाहर निकल गए।
राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के अनुसार भूकंप का केंद्र मंडी में 3.3 किलोमीटर की गहराई पर था। भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.3 आंकी गई। हालांकि, भूकंप की तीव्रता अधिक नहीं थी, जिसके चलते कोई नुकसान नहीं हुआ।
क्या होती है भूकंप की तीव्रता
रिक्टर स्केल पर 2.0 से कम तीव्रता वाले भूकंप को माइक्रो कैटेगरी में रखा जाता है और यह भूकंप महसूस नहीं किए जाते। रिक्टर स्केल पर माइक्रो कैटेगरी के 8,000 भूकंप दुनियाभर में रोजाना दर्ज किए जाते हैं। इसी तरह 2.0 से 2.9 तीव्रता वाले भूकंप को माइनर कैटेगरी में रखा जाता है। ऐसे 1,000 भूकंप प्रतिदिन आते हैं, इसे भी सामान्य तौर पर हम महसूस नहीं करते। वेरी लाइट कैटेगरी के भूकंप 3.0 से 3.9 तीव्रता वाले होते हैं, जो एक साल में 49,000 बार दर्ज किए जाते हैं। इन्हें महसूस तो किया जाता है लेकिन शायद ही इनसे कोई नुकसान पहुंचता है। लाइट कैटेगरी के भूकंप 4.0 से 4.9 तीव्रता वाले होते हैं जो पूरी दुनिया में एक साल में करीब 6,200 बार रिक्टर स्केल पर दर्ज किए जाते हैं। इन झटकों को महसूस किया जाता है और इनसे घर के सामान हिलते नजर आते हैं। हालांकि इनसे न के बराबर ही नुकसान होता है।

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